पंजाब में पंचायत चुनाव से पहले सुनील जाखड़ का इस्तीफा, बीजेपी को करारा झटका
सुनील जाखड़ का इस्तीफा: जुलाई 2024 के बाद से सुनील जाखड़ किसी भी बीजेपी मीटिंग में शामिल नहीं हुए हैं। लुधियाना लोकसभा चुनाव में हार के बावजूद बीजेपी ने रवनीत बिट्टू को राज्यसभा भेजा और केंद्र में मंत्री पद दिया। ऐसा माना जा रहा है कि जाखड़ की नाराजगी इसी फैसले को लेकर है।
सुनील जाखड़ का इस्तीफा: कांग्रेस से बीजेपी में शामिल हुए पंजाब के वरिष्ठ नेता सुनील जाखड़ ने बीजेपी के पंजाब अध्यक्ष पद से इस्तीफा दे दिया है, जो पंचायत चुनावों से ठीक पहले बीजेपी के लिए एक बड़ा झटका माना जा रहा है। हालांकि पार्टी ने अब तक उनका इस्तीफा स्वीकार नहीं किया है। खबरों के मुताबिक, सुनील जाखड़ काफी समय से बीजेपी की पंजाब इकाई की बैठकों से दूरी बनाए हुए थे। इस बीच, उनके निजी सचिव संजीव त्रिखा ने इस्तीफे की खबरों को खारिज करते हुए कहा है कि जाखड़ ने कोई त्यागपत्र नहीं दिया है।
सूत्रों का कहना है कि सुनील जाखड़, भाजपा हाईकमान द्वारा रवनीत बिट्टू को केंद्र में मंत्री बनाए जाने से नाराज हैं और इसी वजह से पार्टी के कार्यक्रमों में भी शामिल नहीं हो रहे हैं। उन्होंने हरियाणा में भी पार्टी के प्रचार कार्यक्रमों से खुद को दूर रखा है। गौरतलब है कि पंजाब में पंचायत चुनाव शुरू हो चुके हैं, और सियासी गलियारों में यह चर्चा है कि जाखड़ ने इस्तीफा दे दिया है। हालांकि, उनके एक्स (पूर्व ट्विटर) अकाउंट पर अभी भी उन्हें बीजेपी पंजाब अध्यक्ष के तौर पर दर्शाया गया है।
हरियाणा चुनाव के चलते इस्तीफे पर संशय
सूत्रों के अनुसार, सुनील जाखड़ ने पार्टी से इस्तीफा दे दिया है, लेकिन पार्टी हाईकमान ने इसे अभी तक स्वीकार नहीं किया है। माना जा रहा है कि हरियाणा चुनावों के मद्देनजर बीजेपी कोई बड़ा जोखिम उठाने के मूड में नहीं है, खासकर जब पार्टी कांग्रेस से कड़ी चुनौती का सामना कर रही है। जाखड़ जाट समुदाय से आते हैं और अबोहर-फाजिल्का क्षेत्र में उनके परिवार का खासा प्रभाव है, जो हरियाणा से सटा हुआ है।
करीब एक साल पहले, सुनील जाखड़ को पंजाब बीजेपी के अध्यक्ष पद की जिम्मेदारी सौंपी गई थी। अब जबकि 15 अक्टूबर को पंजाब में पंचायत चुनाव होने वाले हैं, कई सूत्रों ने पुष्टि की है कि जाखड़ ने अपना इस्तीफा सौंप दिया है।
10 जुलाई के बाद किसी बैठक में नहीं हुए शामिल
जाखड़ 10 जुलाई के बाद से बीजेपी की किसी भी बैठक में शामिल नहीं हुए हैं। पंचायत चुनावों के लिए हुई रणनीतिक बैठकों और पार्टी के सदस्यता अभियान से भी उन्होंने दूरी बनाए रखी है। रिपोर्ट्स के मुताबिक, उन्होंने बतौर राज्य अध्यक्ष पार्टी की किसी भी मीटिंग में हिस्सा लेने से मना कर दिया है।
पिछले इस्तीफों का इतिहास
2024 के लोकसभा चुनाव में बीजेपी को पंजाब में कोई सीट नहीं मिली, और जालंधर उपचुनाव में भी हार का सामना करना पड़ा। कांग्रेस में रहते हुए भी जाखड़ ने कई मौकों पर पार्टी अध्यक्ष पद से इस्तीफा दिया था, खासकर 2019 में, जब अभिनेता सनी देओल ने उन्हें हराया था। उस समय भी पार्टी ने उनका इस्तीफा स्वीकार नहीं किया था।
कांग्रेस से इस्तीफा
मई 2022 में, जाखड़ ने फेसबुक लाइव के माध्यम से कांग्रेस से इस्तीफा दे दिया था। इससे पहले, सितंबर 2021 में, अमरिंदर सिंह की जगह चरणजीत सिंह चन्नी को पंजाब का मुख्यमंत्री बनाए जाने के बाद उन्होंने कांग्रेस से अपनी दूरी बना ली थी।
दिलचस्प बात यह है कि लुधियाना से लोकसभा चुनाव हारने के बाद भी बीजेपी ने रवनीत सिंह बिट्टू को राज्यसभा भेजा और केंद्र में रेल राज्य मंत्री बनाया, जिससे जाखड़ की नाराजगी बढ़ी मानी जा रही है।